भारत में नियोजन की आवश्यकता 1947 में स्वतन्त्रता प्राप्ति के पश्चात् महसूस की जाने लगी थी। परिणामस्वरूप सोवियत संघ जैसे देशों से प्रेरणा लेकर विभिन्न उद्देश्यों के साथ पंचवर्षीय योजनाओं की शुरुआत की गयी। भारत ने जुलाई 1951 में पहली पंचवर्षीय योजना की रूपरेखा प्रकाशित की थी। प्रथम पंचवर्षीय योजना की शुरुआत 1 अप्रैल 1951 से हुई। इसका कार्यकाल 31 मार्च 1956 तक था।