'रघुवंश' महाकाव्य में इन्दुमती की मृत्यु पर राजा अज का विलाप अतीव मार्मिक एवं भावपूर्ण है। निराला द्वारा 'सरोज-स्मृति' में पुत्री के निधन पर जो शोक व्यक्त किया गया है, उसमें हार्दिक वेदना-विवशता है। भ्रातृ-शोक में श्रीराम ने जो विलाप किया, वह संक्षिप्त है तथा इसमें लक्ष्मण के उपचार द्वारा जीवित होने की आशा भी निहित है।