नीचे लिखल गद्यांश के आधार पर प्रश्नन के उत्तर दिहीं।
कवनो भासा के महत्त्व ओकरे साहित्य से होला, ओकर सामर्थ्य से होला। एह बाति में कवनो शकशुबहा नइखे कि भोजपुरी में बहुत बढ़िया साहित्य बा आ बहुत ज्यादा भी बा। मौखिक साहित्य के त खजाना भरल बा। लिखित साहित्य भी बहत बा। बाकि ऊ एह तरे छितराइल बा कि केहू के आँखि नइखे लागत । ई एह बड़हन चुनौती सामने बा कि भोजपुरी के मौखिक आ लिखित साहित्य के एह तरे जउरिया दीहल जाँ कि अ आँखि लगे। दूसर बात बा कि एड्सन उपाय कइल जाँ कि भोजपुरी में नया साहित्य लिखले के माहौल तड्यार होखे। इ माहौल कइसे बनी। ई एगो बड़हन सवाल बा जवने के बारे में भोजपुरिया लोग के सोचे के परी। जबले भोजपुरी आजु के जीवन के चुनौती ना स्वीकार करी तबले अइसन माहौल ना बनि सकेला। भोजपुरी लोक जीवन में जवन जिजिविषा बा, जवन साहस आ हुलास बा ओके बहुत सुंदर रूप में भासा में ले आवे के होई।
1 . कवनो भासा के महत्व केकरा से होला ?
(A) ओकरे साहित्य से
(B) ओकरे सामर्थ्य से
(C) ओकरे इतिहास से
(D) उपर लिखल में से एक से बेसी
(E) उपर लिखल में से कवनो ना
2 . केहू के आँखि का नइखे लागत ?
(A) नींद
(B) खजाना
(C) छितराइल ग्यान
(D) उपर लिखल में से एक से बेसी
(E) उपर लिखल में से कवनो ना
3 . कवन बड़हन चुनौती सामने बा?
(A) मौखिक आ लिखित साहित्य के संगोरल
(B) भोजपुरी के मौखिक साहित्य के जउरियावल
(C) भोजपुरी के लिखित आ मौखिक साहित्य के आँखि लागे लायक जउरियावल
(D) उपर लिखल में से एक से बेसी
(E) उपर लिखल में से कवनो ना
4 . भोजपुरिया लोगन के का सोचे के परी ?
(A) भोजपुरी के नया साहित्य लिखे के माहौल तइयार करे के बारे में
(B) भोजपुरी के लिखित आ मौखिक साहित्य के एकट्ठा करे के बारे में
(C) भोजपुरी के छितराइल साहित्य के जबरियावे के बारे में
(D) उपर लिखल में से एक से बेसी
(E) उपर लिखल में से कवनो ना
5 . बहुत सुंदर रूप में भासा में का ले आवे के परी ?
(A) जीवन के सच्चाई
(B) जीवन के आदर्श
(C) भासा के नया रूप
(D) उपर लिखल में से एक से बेसी
(E) उपर लिखल में से कवनो ना