जब लीगैणड किसी विशिष्ट धातु आयन की ओर जाते है, तो d-कक्षक दो सेंटो में टूट जाता है जिसमे से एक की ऊर्जा अपक्षाकृत कम तथा दुसरे ऊर्जा अपेक्षाकृत अधिक होती है कक्षको के इन दोनों सेंटो अपेक्षाकृत अधिक होती है कक्षको के इन दोनों सेंटो की ऊर्जाओं में अंतर को क्रिस्टल क्षेत्र स्थायित्व ऊर्जा (CFSE) कहते है विस्तृत विवरण हेतु पाठ्य खण्ड `9*7*3` का अध्ययन करें ।